समाज सेवा ही हमारे जीवन जीने का मूल आधार है

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समाज सेवा ही हमारे जीवन जीने का मूल आधार है समाज सेवा सदैव से ही भारतीय संस्कृति का अभिन्न अंग रही है।समाज में सकारात्मक बदलाव लाने में मदद करती है

समाज सेवा ही हमारे जीवन जीने का मूल आधार है


माज सेवा सदैव से ही भारतीय संस्कृति का अभिन्न अंग रही है। "वसुधैव कुटुम्बकम" की भावना से प्रेरित होकर हम सदैव दूसरों की मदद करने और समाज के विकास में योगदान देने के लिए तत्पर रहते हैं।समाज सेवा न केवल दूसरों की मदद करने का, बल्कि खुद को विकसित करने का भी एक महत्वपूर्ण साधन है। यह हमें एक बेहतर इंसान बनाती है, हमें मानसिक संतुष्टि प्रदान करती है, और समाज में सकारात्मक बदलाव लाने में मदद करती है।

गरीबों के बीच जन्मदिवस मनाया

समाज सेवा ही हमारे जीवन जीने का मूल आधार है
अक्सर लोग अपने जन्मदिन को आलीशान होटलों एवं प्रतिष्ठानों में घर-परिवार या फिर अपने अज़ीज़ दोस्तों के साथ मनाते हैं लेकिन कुछ ऐसे लोग भी होते हैं जो अपने खुशी के पलों कि खुशियों को ग़रीबों के बीच जाकर बाँटते हैं। ऐसे वाक्यों को चरितार्थ करते हुए हमारे दादा ने अपना जन्मदिन नगर के ग़रीब बच्चों के बीच मनाया। गरीब बस्तियों में पहुँचकर छोटे बच्चों के बीच मिठाई व खाना बाँटकर अपनी खुशियाँ साझा की।
 
दादाजी ने वहाँ एकत्रित सभी लोगों का ध्यान अपनी तरफ आकर्षित करते हुए उन्हें बहुत ही सुन्दर संदेश दिया कि - "जब ईश्वर ने हमें मनुष्य का जन्म दिया तब ही उसने हमें इस लायक बना दिया और इस जीवन को लोगों की मदद में लगाना चाहिए। मदद न करने के लिए बहाने तो लाखों मिल जाते हैं पर एक बार किसी की मदद कर जो सुकून मिलता है। वह तमाम ऐशोआराम आपको नहीं दे सकते। जीवन में हमें जब भी कुछ अच्छा करने का मौका मिला तो अपने जीवन का वो हर एक मूल्यवान समय ऐसे ही सामाजिक कार्यों में समर्पित करता रहा हूँ। 

समाज सेवा का सबसे यादगार पल

आज के वर्तमान समय में तो हर एक इंसान सिर्फ अपने में ही व्यस्त जिए जा रहा है तो हम यदि इसी समय में अपनों से निकलकर ऐसे जीवन्त सामाजिक कार्यों के करने से एकाकी जीवन से निकलकर आत्मिक सुकून को प्राप्त करता हूँ जिसकी अनुभूति ही जीवन जीने का एकमात्र साध्य है। ऐसे में इन बच्चों के चेहरे पर खुशियाँ मेरे इस जीवन के लिए किसी भी पुरस्कार से कम नहीं, आज का दिन मेरे लिए यादगार पल है कि मैंने ऐसे समाज के बीच अपना जन्मदिन मनाया है जिसे मैंने कभी सोचा नहीं था आज गरीब बच्चों के बीच अपना जन्मदिन मना कर मुझे बहुत अच्छा महसूस हो रहा है। इस मौके पर मैं समाज के लोगों से कहता हूँ कि आप भी ऐसे नेक कार्यों में हिस्सा लीजिए, जिससे आपकी जो खुशी है वह दोगुनी हो जाए।"
 

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